जब हमारा सविधान बन रहा था उस समय में एक कमेटी का गठन किया गया था उस कमेटी के सभी सदस्यों ने विचार विमर्श कर और अन्य देशों के संविधान की अच्छी तरह से पढ़कर हमारे देश के संविधान को लिखा था हमारे संविधान में जो मौलिक अधिकार हैं वह अमेरिका के मौलिक अधिकारों की तर्ज पर ही हमारे संविधान में स्थानांतरित किए गए हैं मौलिक अधिकार वे होते हैं जो हमसे मारे देश में रहने पर सरकार का जीने का कोई हक नहीं है
जैसे की समानता का अधिकार जीवन जीने का अधिकार शिक्षा का अधिकार इस तरह के हमें मौलिक अधिकार प्रदान किए गए हैं और हमारे संविधान में मौलिक अधिकारों का वर्णन भाग तीन में किया गया है जिसमें अनुच्छेद 12 से 35 के बीच में सभी अनुच्छेदों में हमारे मौलिक अधिकारों का वर्णन दिया गया है कि हमें हमारी सरकार और हमारे देश के संविधान से क्या-क्या मौलिक अधिकार प्राप्त हैं अगर इनका हनन होता है तो हम सीधे सुप्रीम कोर्ट में जाकर अर्जी दायर कर सकते हैं
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